पीयूष दुबे ’ बरेली 1सभी को साक्षर करने के लिए यूनेस्को और भारत के संयुक्त प्रयास रंग लाने लगे हैं। साक्षरता दर बढ़ाने के लिए दिए गए स्लोगन ‘साक्षर होंगे धरती पर सभी इंसान, तभी धरती होगी स्वर्ग समान’ सही दिशा में बढ़ रहा है। जिले में सिर्फ छह साल में करीब चार लाख 49 हजार लोग साक्षर हो गए हैं। 1बैंकों में जाने और राशन लेने के लिए लाइन में लगने वाले अंगूठा लगाने की बजाय हस्ताक्षर करना सीख गए हैं। वे लोग साक्षरता की परीक्षा पास कर चुके और इसका प्रमाण भी साक्षरता मिशन की ओर से दिया जा चुका है। साक्षरता की बयार ऐसी ही बही तो चंद सालों में बरेली पूर्ण रूप से साक्षर हो जाएगा। जिले में वर्ष 2011 में हुई जनगणना के मुताबिक जिले में चार लाख 95 हजार 332 लोग निरक्षर थे। इन लोगों को साक्षर किया जाना था। 18 जून, 2017 तक चार लाख, 49 हजार 90 लोगों को साक्षर किया जा चुका है। जबकि अब भी जिले में अब भी 46 हजार 242 लोगों को साक्षर करने को अभियान चलाया जा रहा है। 1‘बिन मानदेय’ शिक्षा दे रहे प्रेरक 1निरक्षर लोगों को साक्षर बनाने के लिए वर्ष 2010 में प्रेरकों की तैनाती हुई थी। तब से लेकर अब जिले में कार्यरत 1506 प्रेरकों का 40 माह का मानदेय नहीं दिया गया है। प्रेरकों को ऐसा लगने लगा है कि वे लोग बिन मानदेय पढ़ा रहे हैं। इसके लिए मुख्यमंत्री, डीएम और बीएसए सभी को मांगपत्र दे चुके हैं। लेकिन कोई कार्रवाई नहीं हो सकी। 1जिले में कम हैं 508 प्रेरक 1जिले के 1007 ग्राम पंचायतों में लोक शिक्षक केंद्र संचालित होने चाहिए और प्रत्येक में दो प्रेरक तैनात होने चाहिए। इसके सापेक्ष सिर्फ 964 केंद्र संचालित हो रहे हैं, जिनमें 1506 प्रेरक कार्यरत हैं। अब भी जिले में 508 प्रेरकों की कमी है। 1जेल में जल रही साक्षरता की अलख 1राज्य साक्षरता मिशन की ओर से जिला जेल में भी बंद कैदियों को साक्षरता का पाठ पढ़ाया जा रहा है। जेल में भी शिक्षा की अलख जलाई जा रही है। इससे तमाम कैदी भी साक्षर हो रहे हैं।’>> छह साल में साक्षर हुए 4.49 लाख बरेलीवासी1’ जिले में अब 46242 निरक्षरों को साक्षर बनाने की कवायदस्कूल चलो अभियान में हुए 54 हजार एडमिशन 1सर्व शिक्षा अभियान के अंतर्गत छह से 14 साल के बच्चों का स्कूलों में नामांकन कराया जाता है। इसके अंतर्गत चालू शैक्षिक सत्र में 54 हजार बच्चों के एडमिशन परिषदीय स्कूलों में कराए गए। हाउस होल्ड सर्वे में सामने आए ड्रॉप आउट 726 बच्चों मे से अब तक 638 बच्चों को स्कूलों में नामांकित कराया जा चुका है। 1
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