कान्वेंट के भी बच्चे पहुंचे इस प्राथमिक विद्यालय
संवाद सहयोगी, बिधूना : विकास खंड क्षेत्र के ग्राम डोडापुर के प्राथमिक विद्यालय में बीते दो वर्षों से तैनात प्रधानाध्यापक आशीष कुमार अवस्थी ने अन्य अध्यापकों के सहयोग से विद्यालय को स्वच्छ, सुंदर व हरा भरा बनाया। साथ ही शिक्षा के स्तर में भी सुधार किया गया। इसी का नतीजा है कि अभिभावकों ने कान्वेंट स्कूलों से अपने बच्चों को हटाकर इस प्राथमिक विद्यालय में उनका दाखिला करवा दिया है।1तहसील क्षेत्र के ग्राम सहार निवासी आशीष कुमार अवस्थी 15 जुलाई 2009 में शिक्षक के पद पर नियुक्त हुए थे। एक जुलाई 2015 को उन्हें प्राथमिक विद्यालय डोडापुर में प्रधानाध्यापक के पद पर नियुक्त किया गया। ऊसर एवं रेतीली जमीन पर स्थापित इस वीरान विद्यालय को उन्होंने हरा भरा बनाने का संकल्प लिया। साथ ही शिक्षा की गुणवत्ता में भी सुधार के प्रयास तेज कर दिए। उनके इन जज्बातों की कद्र करते हुए सहयोगी शिक्षकों राहुल तिवारी, दीपेंद्र सिंह, विमलेश, रेनू देवी व राम मिलन ने पंख लगाने शुरू कर दिए। इन सभी के प्रयास से धीरे धीरे ऊसर जमीन में स्थापित प्राथमिक विद्यालय में फल व फूलदार पौधे रोपे गए। प्रधानाध्यापक ने निजी धन से विद्यालय के जर्जर भवन की मरम्मत कराई। इसके फर्श को पक्का कराया। साथ ही सहयोगी शिक्षकों की मदद से शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार किया। इसी के चलते अभिभावकों ने कान्वेंट स्कूलों से बच्चों के नाम कटवाकर उनका दाखिला इस प्राथमिक विद्यालय में करवा दिया। वर्तमान में यहां 170 छात्र-छात्रएं हैं। रोजाना कम से कम 90 फीसद छात्र-छात्रओं की उपस्थिति रहती है। प्रधानाचार्य आशीष अवस्थी कहते हैं कि 12 माह की तनख्वाह में वह प्रतिवर्ष दो माह का वेतन विद्यालय की मरम्मत व बच्चों के ऊपर खर्च करते हैं। वह कहते हैं कि इसके लिए उन्हें किसी ने प्रेरणा नहीं दी
संवाद सहयोगी, बिधूना : विकास खंड क्षेत्र के ग्राम डोडापुर के प्राथमिक विद्यालय में बीते दो वर्षों से तैनात प्रधानाध्यापक आशीष कुमार अवस्थी ने अन्य अध्यापकों के सहयोग से विद्यालय को स्वच्छ, सुंदर व हरा भरा बनाया। साथ ही शिक्षा के स्तर में भी सुधार किया गया। इसी का नतीजा है कि अभिभावकों ने कान्वेंट स्कूलों से अपने बच्चों को हटाकर इस प्राथमिक विद्यालय में उनका दाखिला करवा दिया है।1तहसील क्षेत्र के ग्राम सहार निवासी आशीष कुमार अवस्थी 15 जुलाई 2009 में शिक्षक के पद पर नियुक्त हुए थे। एक जुलाई 2015 को उन्हें प्राथमिक विद्यालय डोडापुर में प्रधानाध्यापक के पद पर नियुक्त किया गया। ऊसर एवं रेतीली जमीन पर स्थापित इस वीरान विद्यालय को उन्होंने हरा भरा बनाने का संकल्प लिया। साथ ही शिक्षा की गुणवत्ता में भी सुधार के प्रयास तेज कर दिए। उनके इन जज्बातों की कद्र करते हुए सहयोगी शिक्षकों राहुल तिवारी, दीपेंद्र सिंह, विमलेश, रेनू देवी व राम मिलन ने पंख लगाने शुरू कर दिए। इन सभी के प्रयास से धीरे धीरे ऊसर जमीन में स्थापित प्राथमिक विद्यालय में फल व फूलदार पौधे रोपे गए। प्रधानाध्यापक ने निजी धन से विद्यालय के जर्जर भवन की मरम्मत कराई। इसके फर्श को पक्का कराया। साथ ही सहयोगी शिक्षकों की मदद से शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार किया। इसी के चलते अभिभावकों ने कान्वेंट स्कूलों से बच्चों के नाम कटवाकर उनका दाखिला इस प्राथमिक विद्यालय में करवा दिया। वर्तमान में यहां 170 छात्र-छात्रएं हैं। रोजाना कम से कम 90 फीसद छात्र-छात्रओं की उपस्थिति रहती है। प्रधानाचार्य आशीष अवस्थी कहते हैं कि 12 माह की तनख्वाह में वह प्रतिवर्ष दो माह का वेतन विद्यालय की मरम्मत व बच्चों के ऊपर खर्च करते हैं। वह कहते हैं कि इसके लिए उन्हें किसी ने प्रेरणा नहीं दी
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