राज्य सरकार की मंशा के अनुरूप शीतलहरी से जरूरतमंदों को बचाने के लिए सभी नगरी निकायों में पूर्व में संचालित विद्यालय एवं जर्जर भवनों को सम्बन्धित निकायों को तत्काल दुरुस्त करा यहां बेघरों को आश्रय देने के लिए शेल्टर होम या आश्रय गृह बनाकर इनका संचालत शीघ्रताशीघ्र शुरू कराना होगा। इस बारे में प्रमुख सचिव नगर विकास मनोज कुमार मिश्र का जारी आदेश जब नगर निगम मुख्यालय पहुंचा तो अफसरों से लेकर कर्मचारियों तक में इसका पालन कराने को लेकर हड़कम्प मचा नजर आया। आदेश का पालन कराने के क्रम में सभी नगर निकायों को अपने यहां के ऐसे पुराने व पूर्व विद्यालयों, भवन व अन्य जर्जर भवनों सव्रे करना होगा। सव्रे के दौरान ऐसे पुराने भवनों एवं जर्जर भवनों की सूची तैयार कर तत्काल करवानी होगी जिनकी मरम्मत जरूरी है। मरम्मत के उपरांत ऐसे विद्यालय परिसरों व भवनों को शेल्टर होम बनाकर शहरी बेघरों को आश्रय देने के लिए जरूरी व्यवस्थाओं से लैस कर संचालित कराया जाना है।असल में उच्चतम न्यायालय के आदेश के अनुपालन में प्रमुख सचिव नगर विकास की आरे से यह आदेश जारी किया गया है। जिसके तहत नगर निकाय कर्मी अब आगामी तीन दिनों 21, 23 और 26 दिसम्बर की रात 9 से 2 बजे तक अभियान चलाकर शहरी बेघरों की सूची तैयार कर उन्हें आने वाले दिनों में ऐसे शेल्टर होम में आश्रय मुहैया कराना सुनिश्चित कराएंगे।
No comments:
Write comments