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Tuesday, May 22, 2018

महराजगंज : बिना मान्यता वाले स्कूलों को बंद कराने की कार्रवाई में हुई देरी से हुए फीस, कापी-किताब, बस भाड़ा के रूप में हुए खर्च को वापस कराने की प्रशासन से उठी मांग

महराजगंज : बिना मान्यता प्राप्त विद्यालयों के बंदी के आदेश से अभिभावक और विद्यार्थी खुद को ठगा महसूस कर रहे हैं। उनका कहना है कि जब नवीन शिक्षण सत्र शुरू हो गया और बच्चों ने कापी किताब, फीस, बस भाड़ा विद्यालय में जमा हो गया। तब जाकर महीने बाद सरकार ने सख्ती दिखाई , जिससे लोग तबाह हो गए। बच्चों के नए एडमीशन पर प्रतिबंध लगा दिया है।  जिससे सारी किताबें व कापिया बर्बाद हो गई हैं । वहीं बच्चों का पूरा साल खराब होने का खतरा पैदा हो गया है। जिला पंचायत सदस्य दीपक पांडेय ने कहा कि सरकार द्वारा लिया गया यह निर्णय समझ से परे है। यह काम पहले होना चाहिए था जिससे बच्चे मान्यता विहीन स्कूलों में प्रवेश नहीं लेते। उनका हजारों रुपया नुकसान नहीं होता।  समाजसेवी अशोक कुमार तिवारी, दुर्गा पांडेय, विकास उपाध्याय, जितेंद्र सिंह सोलंकी, प्रदीप पांडेय, अरुण राय, दिनेश मिश्र ने कहा सरकार बिना मान्यता वाले स्कूल में जानकारी के बावजूद अभिभावकों व छात्रों से धोखाधड़ी कर प्रवेश लेने वाले बच्चों की फीस, किताब काफी व बस भाड़ा वापस कराए तथा नए विद्यालय में उनका प्रवेश दिलाए।

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