DISTRICT WISE NEWS

अंबेडकरनगर अमरोहा अमेठी अलीगढ़ आगरा इटावा इलाहाबाद उन्नाव एटा औरैया कन्नौज कानपुर कानपुर देहात कानपुर नगर कासगंज कुशीनगर कौशांबी कौशाम्बी गाजियाबाद गाजीपुर गोंडा गोण्डा गोरखपुर गौतमबुद्ध नगर गौतमबुद्धनगर चंदौली चन्दौली चित्रकूट जालौन जौनपुर ज्योतिबा फुले नगर झाँसी झांसी देवरिया पीलीभीत फतेहपुर फर्रुखाबाद फिरोजाबाद फैजाबाद बदायूं बरेली बलरामपुर बलिया बस्ती बहराइच बागपत बाँदा बांदा बाराबंकी बिजनौर बुलंदशहर बुलन्दशहर भदोही मऊ मथुरा महराजगंज महोबा मिर्जापुर मीरजापुर मुजफ्फरनगर मुरादाबाद मेरठ मैनपुरी रामपुर रायबरेली लखनऊ लख़नऊ लखीमपुर खीरी ललितपुर वाराणसी शामली शाहजहाँपुर श्रावस्ती संतकबीरनगर संभल सहारनपुर सिद्धार्थनगर सीतापुर सुलतानपुर सुल्तानपुर सोनभद्र हमीरपुर हरदोई हाथरस हापुड़

Sunday, June 18, 2017

छात्र कॉलेज से हो रहे दूर, सेक्शन है भरपूर : पीरियड के आधार पर शिक्षकों का समायोजन हुआ तो सरकार का दांव पड़ेगा उल्टा 

इलाहाबाद  : शहर के डीएवी इंटर कॉलेज मीरापुर में 120 छात्र पंजीकृत हैं। कक्षा 11 व 12 में चार-चार सेक्शन बने हैं तो कक्षा छह से 10 तक के बच्चों को दो-दो सेक्शन में बांटा गया है। राधारमण इंटर कॉलेज दारागंज में कक्षा छह से 12 तक की एक भी कक्षा में 60 छात्र नहीं है लेकिन, हर कक्षा में दो-दो सेक्शन चल रहे हैं। प्रदेश के अधिकांश अशासकीय माध्यमिक कॉलेजों की लगभग ऐसी ही तस्वीर है। छात्र कॉलेजों से दूर हो रहे हैं लेकिन, वहां सेक्शन ज्यों के त्यों हैं। यदि पीरियड के आधार पर शिक्षकों का समायोजन हुआ तो सरकार का दांव उल्टा पड़ जाएगा। 




प्रदेश के सहायता प्राप्त माध्यमिक स्कूलों में हाईस्कूल स्तर के 4556 व इंटरमीडिएट के 4025 विद्यालय हैं। इन कॉलेजों में अतिरिक्त अध्यापकों को चयनित करने का आदेश हुआ है। इसके लिए पीरियड और छात्र संख्या देखी जा रही है। पहले एक सेक्शन में 40 छात्र होते थे बाद में इसे बढ़ाकर 65 कर दिया गया। एलटी ग्रेड शिक्षकों के लिए 65 छात्र-छात्रओं तक एक शिक्षक और संख्या 90 तक पहुंचने पर दो शिक्षक नियुक्त करने का आदेश है। ऐसे ही प्रवक्ता का भी पद सृजन है। दोनों में अंतर सिर्फ इतना है कि यदि किसी स्कूल में किसी विषय में पांच या उससे कम संख्या छात्र-छात्रओं की है तो वहां प्रवक्ता का पद खत्म हो जाएगा। 




इसके अलावा माध्यमिक कॉलेजों को यह निर्देश है कि एक एलटी ग्रेड शिक्षक सप्ताह में कम से कम 36 पीरियड जरूर पढ़ाए। यदि किसी स्कूल में एक ही विषय के दो एलटी ग्रेड शिक्षक हैं और उनके 36 पीरियड सप्ताह में पूरे नहीं होते हैं तो वहां एक शिक्षक के हटने का कारण बनेगा। ऐसे ही प्रवक्ता को सप्ताह में 24 पीरियड पढ़ाना है यदि वह यह संख्या पूरी नहीं करता है तो प्रवक्ता अतिरिक्त शिक्षक की श्रेणी में आएगा लेकिन, प्रदेश के अधिकांश कॉलेजों में छात्र संख्या भले ही गिनी-चुनी हो लेकिन, शिक्षकों के पीरियड में कमी नहीं है। कई कॉलेजों ने तो 30-30 छात्रों के कई-कई सेक्शन बना रखे हैं। कॉलेजों में हो रहे पठन-पाठन से साफ है कि शासन के निर्देशों के अनुरूप तय मानक पर सेक्शन बने ही नहीं है, बल्कि प्रबंधन व प्रधानाचार्य की मर्जी पर सेक्शन बनाए गए हैं।



No comments:
Write comments