नेता जी के चेला खूब रहे धमकाए, अगर न लई ड्रेस हमारी त जांच दिही करवाई। परिषदीय विद्यालयों में बच्चों की ड्रेस वितरण में मचे में ऐसा ही हो रहा है। अहिरोरी क्षेत्र के अध्यापक को विधायक का मीडिया प्रभारी बताकर धमकाने का मामला चर्चा में आया तो अरवल थाना क्षेत्र में ड्रेस में कमीशन न देने पर एक शिक्षक को पीट दिया गया। रोजाना ही ऐसे मामले आने लगे हैं। बच्चों को गुणवत्ता पूर्ण ड्रेस दिलाने की चाहत रखने वाले अध्यापकों का कहना है कि उन्हें धमकाया जा रहा है कि अगर हमारी ड्रेस नहीं ली तो इतनी जांच होगी कि परेशान हो जाओगी। शनिवार को कई अध्यापक बीएसए कार्यालय आए और उनका कहना था कि उन्हें ड्रेस वितरण से दूर कर दिया जाए।
परिषदीय विद्यालयों में बच्चों को गुणवत्ता पूर्ण ड्रेस वितरण को लेकर शासन प्रशासन से फरमान जारी हुए हैं। वैसे तो ड्रेस वितरण में हमेशा से खेल होता आया लेकिन निजाम बदला तो उम्मीद थी कि अब खेल नहीं हो सकेगा और बच्चों को गुणवत्ता पूर्ण ड्रेस मिल सकेगी, पर ऐसा नहीं हो सका और धनराशि आते ही खेल शुरू हो गया। बच्चों की नाप धरी रह गई और मचा हुआ है। कमीशन के खेल में ठेकेदार तो लगे हुई हैं और जो अध्यापक खेल कर रहे हैं उन्हें परेशानी भी नहीं हो रही है लेकिन जो बच्चों को सही ड्रेस देना चाहते हैं उन्हें परेशान किया जा रहा है।
अध्यापकों का कहना है कि उन्हें जांच कराने की धमकी दी जाती है। कहीं एसडीआइ से फोन कराया जाता तो कहीं कुछ नेताओं के आदमी खुद आते हैं और अपनी ड्रेस देने की बात कहते हैं। उनसे सौदेबाजी भी होती और 140 से 170 तक की बात कही जाती है अगर मना कर दो तो नौकरी की धमकी दी जाती है। शनिवार को कुछ शिक्षक बीएसए कार्यालय पहुंचे, हालांकि उनका दर्द सुनने वाला कोई नहीं था और मायूस होकर लौट गए। अध्यापकों का कहना है कि कुछ क्षेत्रों में तो जमकर खेल हो रहा है और धमकी दी जा रही है। हालांकि जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी मसीहुज्जमा सिद्दीकी का कहना है कि गुणवत्ता पूर्ण ड्रेस ही दी जाएगी और ऐसी हालत में कैसे हो पाएगा उनके पास जवाब नहीं है।’
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