लखनऊ : प्रदेश सरकार ‘सुरक्षित बचपन’ योजना से मलिन बस्तियों के बच्चों का भविष्य संवारने जा रही है। इस योजना के जरिये मलिन बस्तियों के बच्चों को समाज की मुख्य धारा में लाया जाएगा। विषम परिस्थितियों में पाए जाने वाले बच्चों को सरकार इस योजना के जरिये सुरक्षित वातावरण मुहैया कराएगी। साथ ही प्रमुख शहरों को बाल श्रम व बाल भिक्षा से मुक्त कराएगी। इस की शुरुआत लखनऊ से की जा रही है।
दरअसल, प्रदेश में स्कूल छोड़ने वाले, सड़कों पर भीख मांगने वाले व बालश्रम में लगे बच्चों की तादाद दिन-प्रतिदिन बढ़ती जा रही है। योगी सरकार ने इस पर चिंता जताते हुए इन बच्चों के लिए ‘सुरक्षित बचपन’ योजना तैयार करवाई है। इन बच्चों को बाल संरक्षण योजनाओं का लाभ देने के साथ ही अन्य मूलभूत सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी। इसमें भीख मांगने वाले, फेरी लगाने वाले, तमाशा दिखाने वाले एवं अन्य बाल श्रम में लगे बच्चों की शिक्षा व सुरक्षा के लिए सरकार काम करेगी।
■ चारबाग से होगी शुरुआत
प्रदेश सरकार इस की शुरुआत लखनऊ के चारबाग से कर रही है। महिला कल्याण विभाग ने सबसे पहले यहां के चंद्रभानु गुप्त वार्ड का चयन किया है। चारबाग क्षेत्र को सबसे पहले बाल श्रम व बाल भिक्षावृत्ति से मुक्त कराया जाएगा। इस इलाके में दुकानदारों से एक शपथ पत्र भी भरवाया जाएगा जिसमें उन्हें लिखकर देना होगा कि वह बच्चों से काम नहीं कराएंगे। इस शपथ पत्र को फ्रेम कराकर उन्हें दुकान पर भी लगाना होगा।
■ वार्ड स्तर पर बाल सुरक्षा समिति
सरकार इस योजना के तहत वार्ड स्तर पर बाल सुरक्षा समिति का गठन करने जा रही है। इसमें स्कूल मैनेजमेंट कमेटी, अभिभावक, स्वयंसेवी संस्थाओं के प्रतिनिधि, धर्म गुरु, स्थानीय पार्षद आदि शामिल होंगे। यह समिति क्षेत्र में बच्चों की समस्याओं का निस्तारण कराएगी। नुक्कड़ नाटक व बैठकों के जरिये सड़क पर मिलने वाले बच्चों की मदद के लिए लोगों को जागरूक किया जाएगा।
■ महिला कल्याण विभाग लखनऊ से करेगा शुरुआत
■ विषय परिस्थितियों में पाए जाने वाले बच्चों को मिलेगी सुरक्षा
■ बच्चों को ईवनिंग स्कूल में दी जाएगी शिक्षा
सरकार इन बच्चों को ईवनिंग स्कूल में शिक्षा दिलाएगी। इसके लिए स्कूलों का चयन किया जाएगा। साथ ही बीच में ही स्कूल छोड़ने वाले बच्चों के लिए ब्रिज कोर्स भी चलाए जाएंगे।इस योजना में यह होंगे काम
● प्रत्येक बच्चे को पोषण, शिक्षा, स्वास्थ्य एवं संरक्षण की व्यवस्था
● सभी बच्चों का आधार कार्ड बनवाकर उन्हें पहचान दिलाना
● समेकित बाल संरक्षण कार्यक्रम के जरिए इन बच्चों की मदद करना
● कौशल विकास कार्यक्रमों के जरिए इन्हें हुनर सिखाना
● स्कूल छोड़ने से रोकने के लिए समाज को जागरूक करना
No comments:
Write comments