DISTRICT WISE NEWS

अंबेडकरनगर अमरोहा अमेठी अलीगढ़ आगरा इटावा इलाहाबाद उन्नाव एटा औरैया कन्नौज कानपुर कानपुर देहात कानपुर नगर कासगंज कुशीनगर कौशांबी कौशाम्बी गाजियाबाद गाजीपुर गोंडा गोण्डा गोरखपुर गौतमबुद्ध नगर गौतमबुद्धनगर चंदौली चन्दौली चित्रकूट जालौन जौनपुर ज्योतिबा फुले नगर झाँसी झांसी देवरिया पीलीभीत फतेहपुर फर्रुखाबाद फिरोजाबाद फैजाबाद बदायूं बरेली बलरामपुर बलिया बस्ती बहराइच बागपत बाँदा बांदा बाराबंकी बिजनौर बुलंदशहर बुलन्दशहर भदोही मऊ मथुरा महराजगंज महोबा मिर्जापुर मीरजापुर मुजफ्फरनगर मुरादाबाद मेरठ मैनपुरी रामपुर रायबरेली लखनऊ लख़नऊ लखीमपुर खीरी ललितपुर वाराणसी शामली शाहजहाँपुर श्रावस्ती संतकबीरनगर संभल सहारनपुर सिद्धार्थनगर सीतापुर सुलतानपुर सुल्तानपुर सोनभद्र हमीरपुर हरदोई हाथरस हापुड़

Friday, September 16, 2016

सहायक अध्यापक के पदों पर नियुक्ति की मांग के संबंध में मृतक आश्रित शिक्षणेतर कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन, आक्रोशित प्रदर्शनकारियों ने गुरुवार से आमरण अनशन किया शुरू

लखनऊ : सहायक अध्यापक के पदों पर नियुक्ति की मांग के संबंध में प्राथमिक मृतक आश्रित शिक्षणेतर कर्मचारियों ने काफी संख्या में गुरुवार को लक्ष्मण मेला स्थल पर धरना दिया। आक्रोशित प्रदर्शनकारियों ने गुरुवार से आमरण अनशन भी शुरू कर दिया। अनशन पर बैठे जुबेर अहमद, विनोद यादव, हर्षित अरोड़ा, पंकज बाजपेई, शशांक कौशिक, कुशाल अवस्थी, साजिद खान ने सभा को संबोधित भी किया। इस प्रदर्शन को राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के प्रदेश अध्यक्ष एसपी तिवारी और महामंत्री आरके निगम ने भी समर्थन दिया।

जूनियर शिक्षक संघ के प्रदेश महामंत्री योगेश त्यागी और प्राथमिक शिक्षक संघ के कार्यवाहक प्रदेश अध्यक्ष सुशील पाण्डेय, शिक्षक विधायक उमेश द्विवेदी, शिक्षक विधायक संजय मिश्र ने भी प्रदर्शनकारियों की मांग का समर्थन किया है।

उत्तर प्रदेशीय प्राथमिक मृतक आश्रित शिक्षणेतर कर्मचारी संघ के प्रदेश अध्यक्ष जुबेर अहमद ने कहा कि बेसिक शिक्षा परिषद द्वारा संचालित पूर्व माध्यमिक विद्यालयों में काम कर रहे मृतक आश्रित चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी जो स्नातक या परास्नातक हैं, उन्हें प्रशिक्षण दिलवा कर टीईटी में बैठने का अवसर दिया जाए। टीईटी पास करने के बाद उन्हें सहायक अध्यापक पद पर नियुक्ति दी जाए। इससे प्रदेश में चालीस हजार लोगों को लाभ मिलेगा।

जुबेर अहमद के अनुसार पहले मृतक आश्रितों को अप्रशिक्षित शिक्षक के पद पर नियुक्ति देकर प्रशिक्षण दिलवाकर सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्त किया जाता था। कानून में बदलाव हो जाने से उच्चतम योग्यता रखने के बावजूद मृतक आश्रितों को केवल चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी पद पर ही नियुक्तियां दी जा रही हैं। ऐसे में प्रतिभाओं का अपमान हो रहा है।

No comments:
Write comments