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Thursday, May 28, 2020

यूजीसी का निर्देश- 127 संस्थान अपने नाम के आगे ‘यूनिवर्सिटी’ न लिखें

यूजीसी का निर्देश- 127 संस्थान अपने नाम के आगे ‘यूनिवर्सिटी’ न लिखें


■ सुप्रीम कोर्ट के 2017 के आदेश के तहत जारी किया निर्देश

■ सभी यूनिवर्सिटी को 30 मई तक ग्रीवांस सेल बनाने व जल्द शिकायतें दूर करने का आदेश

■ अधूरे सिलेबस, परीक्षा से स्टूडेंट्स परेशान, यूजीसी से कर रहे शिकायतें






यूजीसी ने 127 संस्थानों/डीम्ड टु बी यूनिवर्सिटी को निर्देश दिया है कि वे अपने नामों के आगे ‘यूनिवर्सिटी’ न लगाएं, वरना ऐक्शन लिया जाएगा। कमिशन ने इन्हें लेटर भेजकर कहा है कि विज्ञापनों, वेबसाइट, वेबसाइट एड्रेस, लेटर हेड, होर्डिंग या किसी भी तरह के संवाद में ‘यूनिवर्सिटी’ के इस्मेमाल पर रोक लगाई है। हालांकि, यूजीसी ने ऐसे संस्थानों को alt147डीम्ड टु बी यूनिवर्सिटीalt148 लिखने की छूट दी है। कुछ संस्थानों की शिकायतें मिलने के बाद यूजीसी ने ये कदम उठाया है।


यूजीसी की जॉइंट सेक्रेटरी अर्चना ठाकुर की ओर से बुधवार को भेजे गए इस लेटर में सुप्रीम कोर्ट के आदेश का हवाला दिया गया है। सुप्रीम कोर्ट ने 2017 में अपने एक आदेश में यूजीसी को निर्देश दिया था कि इस प्रैक्टिस को एक महीने के अंदर रोका जाए। कोर्ट ने कहा था कि यह गौर किया गया है कि कई डीम्ड टु बी यूनिवर्सिटी सिर्फ यूनिवर्सिटी शब्द का इस्तेमाल कर रही हैं। अधिकारियों का कहना है कि इससे स्टूडेंट्स और पैरंट्स को इंस्टिट्यूट तय करने के लिए पारदर्शिता नहीं रहती।


नई दिल्ली : यूजीसी को ऑनलाइन क्लास से लेकर एग्जामिनेशन तक की तमाम शिकायतें और सवाल मिल रहे हैं। यूजीसी ने इसके लिए एक टास्क फोर्स भी बनाई है। अधिकारियों का कहना है कि ऑनलाइन क्लास, एग्जाम, पूरा ना हो पाए सिलेबस को लेकर स्टूडेंट्स कई उलझनें सामने आई हैं, जिनका हल यूनिवर्सिटी को ही निकालना है। यूजीसी ने सभी यूनिवर्सिटी को कहा है कि सभी यूनिवर्सिटी 30 मई तक हर हाल में ग्रीवांस सेल बनाएं और यूनिवर्सिटी/राज्य सरकारों की टास्क फोर्स शिकायतें दूर करने के उपाय करें।


स्टूडेंट्स की शिकायतों के लिए यूजीसी ने एक हेल्पलाइन 011-23236374 और ईमेल आईडी covid19help.ugc@gmail.com  भी तय की है। पोर्टल में एक नया टैब भी खोला है। यूजीसी का कहना है कि ईमेल और फोन कॉल से अब तक पढ़ाई, एग्जाम, एडमिशन, फीस, फैकल्टी की सैलरी वगैरह को लेकर शिकायतें मिली हैं। एक अधिकारी ने बताया कि खासतौर पर फाइनल ईयर के स्टूडेंट्स की उलझनें ज्यादा सामने आ रही हैं जो कि एग्जाम को लेकर है। यूजीसी के चेयरमैन डीपी सिंह का कहना है कि यूनिवर्सिटी/कॉलेज/राज्य सरकार की तरफ से इन शिकायतों पर कार्रवाई होनी है। यूनिवर्सिटी और राज्य सरकारों की टास्क फोर्स लिए गए ऐक्शन की जानकारी स्टूडेंट्स के बीच प्रचारित करें।


यूपी के 9, दिल्ली के 10 संस्थान : इन 127 संस्थानों की लिस्ट भी यूजीसी ने जारी की है, जिन्हें यूजीसी ऐक्ट 1956 के सेक्शन 3 के तहत डीम्ड टु बी यूनिवर्सिटी माना गया है। लिस्ट में दिल्ली के IIFT, ILBS, इंडियन लॉ इंस्टिट्यूट, जामिया हमदर्द, टेरी स्कूल ऑफ एडवांस्ड स्टडीज


यह है सुप्रीम आदेश
राष्ट्रीय संस्कृति संस्थान, श्री लाल बहादुर शास्त्री राष्ट्रीय संस्कृत विद्यापीठ समेत 10 इंस्टिट्यूट शामिल हैं। 28 तमिलनाडु, 21 महाराष्ट्र, 14 कर्नाटक, 9 उत्तर प्रदेश के इंस्टिट्यूट हैं। उत्तराखंड का फॉरेस्ट रिसर्च इंस्टिट्यूट, गुरुकुल कांगड़ी विद्यापीठ, मुंबई का टाटा इंस्टिट्यूट ऑफ सोशल साइंस और होमी भाभा नैशलल इंस्टिट्यूट, केरल का इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ स्पेस साइंस ऐंड टेक्नॉलजी भी शामिल हैं।

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