उच्च शिक्षा : परीक्षा व मूल्यांकन के लिए राज्य विश्वविद्यालय नहीं गम्भीर।
परीक्षा व मूल्यांकन के लिए राज्य विवि गंभीर नहीं
प्रयागराज : लॉकडाउन की बंदिशों से उच्च शिक्षा का सत्र प्रभावित न होने पाए उसके प्रति शासन गंभीर है। शासन ने स्नातक व परास्नातक की जिन विषयों की परीक्षा हो चुकी है, उसकी कापियों का मूल्यांकन तत्काल शुरू करने का निर्देश दिया है। मूल्यांकन का केंद्र ग्रीन जोन में स्थित राज्य विश्वविद्यालय को बनाने का सुझाव दिया गया है। लॉकडाउन खत्म होते ही परीक्षाएं करने को कहा गया है। लेकिन, राज्य विश्वविद्यालय परीक्षा व मूल्यांकन को लेकर गंभीर नहीं है। शासन व उच्च शिक्षा निदेशालय का निर्देश होने के बावजूद किसी विश्वविद्यालय ने प्रारूप सोमवार तक उच्च शिक्षा निदेशक को नहीं भेजा। प्रदेश में 17 राज्य व 25 निजी विश्वविद्यालय हैं। इनके अंतर्गत 169 राजकीय, 331 एडेड व एक हजार से अधिक निजी डिग्री कॉलेज संचालित हैं। यहां स्नातक व परास्नातक परीक्षाएं फखरी में शुरू होकर 30 अप्रैल तक चलनी थीं। लेकिन, लॉकडाउन के कारण सारी प्रक्रिया ठप है।
शासन के निर्देशानुसार समस्त राज्य विश्वविद्यालयों से 11 मई तक उनके कार्यों का प्रारूप मांगा गया था। लेकिन, किसी ने नहीं भेजा। मंगलवार को पुनः सबसे ब्योरा एकत्र करने का प्रयास किया जाएगा।
-डॉ.वंदना शर्मा, निदेशक उच्च शिक्षा
परीक्षा व मूल्यांकन के लिए राज्य विवि गंभीर नहीं
प्रयागराज : लॉकडाउन की बंदिशों से उच्च शिक्षा का सत्र प्रभावित न होने पाए उसके प्रति शासन गंभीर है। शासन ने स्नातक व परास्नातक की जिन विषयों की परीक्षा हो चुकी है, उसकी कापियों का मूल्यांकन तत्काल शुरू करने का निर्देश दिया है। मूल्यांकन का केंद्र ग्रीन जोन में स्थित राज्य विश्वविद्यालय को बनाने का सुझाव दिया गया है। लॉकडाउन खत्म होते ही परीक्षाएं करने को कहा गया है। लेकिन, राज्य विश्वविद्यालय परीक्षा व मूल्यांकन को लेकर गंभीर नहीं है। शासन व उच्च शिक्षा निदेशालय का निर्देश होने के बावजूद किसी विश्वविद्यालय ने प्रारूप सोमवार तक उच्च शिक्षा निदेशक को नहीं भेजा। प्रदेश में 17 राज्य व 25 निजी विश्वविद्यालय हैं। इनके अंतर्गत 169 राजकीय, 331 एडेड व एक हजार से अधिक निजी डिग्री कॉलेज संचालित हैं। यहां स्नातक व परास्नातक परीक्षाएं फखरी में शुरू होकर 30 अप्रैल तक चलनी थीं। लेकिन, लॉकडाउन के कारण सारी प्रक्रिया ठप है।
शासन के निर्देशानुसार समस्त राज्य विश्वविद्यालयों से 11 मई तक उनके कार्यों का प्रारूप मांगा गया था। लेकिन, किसी ने नहीं भेजा। मंगलवार को पुनः सबसे ब्योरा एकत्र करने का प्रयास किया जाएगा।
-डॉ.वंदना शर्मा, निदेशक उच्च शिक्षा
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