बहराइच : परिषदीय विद्यालय के एक शिक्षक ने बीएसए पर एकतरफा कार्रवाई कर निलंबन के बाद बहाली में गलत दंड निर्धारण का आरोप लगाया है। न्याय न मिलने पर आमरण अनशन की चेतावनी दी है। बीएसए के विरुद्ध कार्रवाई के लिए डीएम को पत्र भेजा है। 1चित्तौरा ब्लॉक के पूर्व माध्यमिक विद्यालय ताज खुदाई में मनोज श्रीवास्तव सहायक शिक्षक के पद पर कार्यरत थे। बाद में खंड शिक्षा अधिकारी चित्तौरा कार्यालय में सहयोग करने लगे। चार मार्च को तीन शिक्षिकाओं ने शिक्षक अभिलेखों के सत्यापन एवं सेवा पुस्तिका बनाने के लिए पैसे मांगने का आरोप लगाया। जिस पर इन्हें बीएसए ने निलंबित कर खंड शिक्षा अधिकारी पयागपुर वीरेंद्र नाथ द्विवेदी को जांच अधिकारी बनाया। शिक्षक मनोज का कहना है कि खंड शिक्षा अधिकारी ने अपनी जांच आख्या में किसी आरोप की पुष्टि नहीं की है। इसके बावजूद बीएसए ने एक वेतन वृद्धि संचयी रूप से रोकते हुए हुजूरपुर ब्लॉक के प्राथमिक विद्यालय बेहड़ पद स्थापित कर दिया है। यह गंभीर दंड की श्रेणी में है। उनका कहना है कि उनका बहाली आदेश संशोधित कर सवेतन बहाल कर मूल वेतन ताज खुदाई में स्थापित किया जाए। न्याय न मिलने पर बीएसए के खिलाफ आमरण अनशन की चेतावनी दी है। बीएसए डॉ.अमरकांत सिंह ने बताया कि जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई हुई है। वे अंतिम अधिकारी नहीं है। यदि शिक्षक निर्णय से संतुष्ट नहीं है तो वह बेसिक शिक्षा परिषद के समक्ष अपनी बात रख सकता है। रही बात अनशन की, तो वे अभी सरकारी सेवा नियमावली के तहत है।
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