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Wednesday, November 26, 2025

प्रदेश में संचालित हैं चार फर्जी विश्वविद्यालय, निदेशालय ने बैठाई जांच

प्रदेश में संचालित हैं चार फर्जी विश्वविद्यालय, निदेशालय ने बैठाई जांच


प्रयागराज में खुले गांधी हिंदी विद्यापीठ नाम के विवि का कोई पता नहीं, नोएडा के विवि की लोकेशन भी गलत


प्रयागराज। उत्तर प्रदेश में चार फर्जी विश्वविद्यालय चल रहे हैं। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की ओर से फर्जी विश्वविद्यालयों की सूची जारी करने के बाद उच्च शिक्षा निदेशालय ने जांच बैठा दी है। प्रारंभिक जांच में प्रयागराज स्थित फर्जी विश्वविद्यालय का कोई पता ही नहीं मिला। नोएडा के विश्वविद्यालय का भी पता गलत है। सभी के बारे में बुधवार तक रिपोर्ट मांगी गई है। शासन के निर्देश पर इनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कराई जाएगी।


यूजीसी की ओर से 22 फर्जी विश्वविद्यालयों की सूची पिछले महीने जारी की गई थी। इनमें से चार विवि उत्तर प्रदेश के हैं। प्रयागराज में गांधी हिंदी विद्यापीठ प्रयाग, इलाहाबाद नाम से फर्जी विश्वविद्यालय है। इसके अलावा अलीगढ़ में नेताजी सुभाष चंद्र बोस मुक्त विश्वविद्यालय, लखनऊ में भारतीय शिक्षा परिषद एवं नोएडा में महामाया तकनीकी विश्वविद्यालय नाम से फर्जी विश्वविद्यालय संचालित हो रहे हैं।

यूजीसी की ओर से सूची जारी किए जाने के बाद शासन ने निदेशालय से फर्जी विश्वविद्यालयों के बारे में पूरी रिपोर्ट मांगी है। इसके बाद निदेशालय ने क्षेत्रीय अधिकारियों को जांच सौंपी। उन्होंने प्रारंभिक रिपोर्ट भी सौंप दी है लेकिन उसमें कई बिंदुओं पर स्पष्टता नहीं है। 

ऐसे में निदेशालय की ओर से फिर से जांच का आदेश दिया गया है। फर्जी विश्वविद्यालय अब भी चल रहा है या नहीं, कौन-कौन सी डिग्री बांटता है, इनके खिलाफ कार्रवाई क्या हुई है आदि बिंदुओं पर जांच कर निदेशालय ने बुधवार तक रिपोर्ट मांगी है। विस्तृत जांच रिपोर्ट को निदेशालय की ओर से 27 नवंबर तक शासन को सौंपना है।

सहायक निदेशक डॉ. बीएल शर्मा ने कहा कि इन विश्वविद्यालयों की डिग्रियां पूरी तरह से फर्जी हैं। इन डिग्रियों से छात्रों को न तो नौकरी मिलेगी और न ही आगे की पढ़ाई कर सकेंगे। बताया कि निदेशालय की ओर से क्षेत्रीय अधिकारियों को इनकी जांच सौंपी गई है। प्रयागराज में सांख्यिकी शोध अधिकारी डॉ. पंकज सिंह को जांच दी गई है।

डॉ. बीएल शर्मा ने बताया कि प्रयागराज स्थित फर्जी विश्वविद्यालय के बारे में पता लगाने की कोशिश की गई लेकिन वह कहीं नहीं मिला। यूजीसी की ओर से जारी सूची में भी इस विश्वविद्यालय का पता नहीं दिया गया है। ऐसे में माना जा रहा है कि वेबसाइट पर ही यह विश्वविद्यालय संचालित हो रहा है। उन्होंने बताया कि 27 नवंबर तक शासन को पूरी रिपोर्ट भेज दी जाएगी। शासन के निर्देश पर आगे की कार्रवाई की जाएगी।


नोएडा में विवि के नाम पर आती है डाक लेकिन पता नहीं

नोएडा में महामाया तकनीकी विश्वविद्यालय के नाम से खुले फर्जी विश्वविद्यालय का पता भी गलत है। जांच समिति के सदस्यों ने दिए गए पते पर संपर्क करने की कोशिश की लेकिन वह मिला ही नहीं। इसके बाद डाक विभाग में संपर्क किया गया। वहां से बताया गया कि इस फर्जी विश्वविद्यालय के नाम पर लगातार डाक आती है लेकिन फर्जी पता कहकर उन्हें वापस कर दिया जाता है।

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