इसी सत्र से विश्वविद्यालय छात्रों को साल में दो बार प्रवेश का मौका देंगे
लखनऊ : अब विश्वविद्यालय स्नातक (यूजी) व परास्नातक (पीजी) कक्षाओं में वर्ष में दो बार प्रवेश दे सकेंगे। वह एक बार जुलाई या अगस्त और दूसरी बार जनवरी या फरवरी में प्रवेश परीक्षा आयोजित कर सकेंगे।
विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) की ओर से इसके निर्देश जारी किए गए हैं। ऐसे उच्च शिक्षण संस्थान जिन्होंने इसकी तैयारी कर ली है, वह इसी सत्र से साल में दो बार प्रवेश दे सकेंगे। यूजीसी द्वारा स्नातक व परास्नातक उपाधि प्रदान करने के लिए तैयार न्यूनतम मानदंड, विनियम-2025 को अब लागू किया जाएगा।
फिलहाल केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा परिषद (सीबीएसई) भी बोर्ड परीक्षाओं को वर्ष में दो बार आयोजित करने की तैयारी कर रही है। ऐसे में विश्वविद्यालयों को नए विनियम-2025 को लागू किया जाना है। यूजीसी ने विश्वविद्यालयों को निर्देश दिए हैं कि वह छात्र प्रवेश क्षमता का निर्धारण अपने संस्थान में उपलब्ध संसाधनों, छात्र-शिक्षक अनुपात और अन्य मानकों के आधार पर करने का आदेश दिया है। तीन वर्षीय स्नातक पाठ्यक्रम 120 क्रेडिट का होगा। वहीं शोध सहित चार वर्षीय स्नातक ऑनर्स कोर्स 160 क्रेडिट का होगा।
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