गर्मी की छुट्टियां खत्म होने को, अभी शुरू नहीं हुई अंतः जनपदीय तबादला प्रक्रिया, जिले के अंदर तबादलों के लिए शिक्षकों को अब भी इंतज़ार
लखनऊ । अंतःजनपदीय (जिले के अंदर) और अंतरजनपदीय (जिले के बाहर) तबादलों के लिए नीति पिछले महीने एक साथ जारी हुई थी। अंतरजनपदीय तबादला प्रक्रिया अभी चल रही है। गर्मियों की छुट्टियां बीतने वाली हैं। दोबारा स्कूल खुलने को हैं लेकिन अभी तक अंतःजनपदीय तबादलों का शिक्षकों को इंतजार है। अभी तक प्रक्रिया ही शुरू नहीं हुई है।
म्यूचुअल तबादले पूरे : सामान्य तौर पर जून-जुलाई तक सभी विभागों में तबादले होते हैं। वहीं, शिक्षा विभाग में जुलाई से नया सत्र शुरू हो जाता है। ऐसे में उससे पहले गर्मियों की छुट्टियों में सभी तबादले पूरे कर लिए जाएं तो बेहतर रहता है। म्यूचुअल तबादलों के लिए तो तो शासनादेश भी है है कि गर्मियों की छुट्टियों में ही तबादले होंगे। उसके बावजूद हर बार लेटलतीफी के कारण तबादले भी लटकते रहते हैं। हालांकि इस बार म्यूचुअल तबादलों में विभाग ने तेजी दिखाई और प्रक्रिया पूरी हो गई है।
'ताकि पढ़ाई बाधित न हो' म्यूचुअल तबादलों के बाद अंतःजनपदीय और अंतरजनपदीय सामान्य तबादलों/समायोजन के लिए नीति भी 23 मई को जारी हो गई थी। उसके बाद अंतरजनपदीय तबादलों की प्रक्रिया भी शुरू हो गई। आवेदन पूरे होने के बाद ऐसे जिलों की लिस्ट भी जारी हो गई, जहां पद खाली हैं और शिक्षकों की जरूरत है। वहीं अंतःजनपदीय तबादलों के लिए अभी तक कोई प्रक्रिया बेसिक परिषद की ओर से अभी शुरू नहीं की गई है।
शिक्षकों का कहना है कि गर्मियों की छुट्टियां 16 जून को खत्म हो रही हैं। नया सत्र शुरू होने से पहले प्रक्रिया पूरी तर ली जाए तो ठीक रहता है क्योकि जो शिक्षक तबादला चाहते हैं, वे भी निश्चिंत होकर पठन-पाठन में जुट जाते हैं। इस बारे में प्राथमिक शिक्षक प्रशिक्षित स्नातक असोसिएशन के प्रदेश अध्यक्ष विनय कुमार सिंह का कहना है कि नए सत्र से पहले ही प्रक्रिया पूरी कर ली जाए तो इससे शिक्षण कार्य बाधित नहीं होता। प्राथमिक शिक्षक संघ लखनऊ के निर्भय सिंह कहते हैं कि अंतःजनपदीय और अंतरजनपदीय दोनों के लिए शासन ने एक साथ नीति जारी कर दी थी। ऐसे में साथ ही दोनों तबादलों की प्रक्रिया शुरू कर देनी चाहिए थी।
सॉफ्टवेयर तैयार है। इसी हफ्ते अंतः जनपदीय तबादलों की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। समायोजन के लिए जरूरी है कि छात्र-शिक्षक अनुपात के हिसाब से हो। छात्र-शिक्षक अनुपात की स्थिति साफ हो जाए, उसके तुरंत बाद आवेदन के लिए पोर्टल खोल दिया जाएगा। – कंचन वर्मा, महानिदेशक स्कूल शिक्षा
कहां फंसी है प्रक्रिया?
दरअसल, जो नीति जारी हुई है उसमे अंतः जनपदीय तबादलों के साथ ही समायोजन का जिक्र भी किया गया है। इसका मतलब है कि जहा छात्रसंख्या के अनुपात में शिक्षक ज्यादा है, वहां से कम शिक्षक वाले स्कूल में समायोजन किया जाएगा। यह चयन शिक्षकों के लिए स्वैच्छिक होगा। सबसे पहले कम और ज्यादा शिक्षक वाले स्कूलों की लिस्ट जारी की जाएगी। उसके आधार पर शिक्षक कुछ स्कूलों का विकल्प चुनेंगे।
अंतरजनपदीय समायोजन जिले से जिले में किए जाते हैं। ऐसे में कुल शिक्षकों और कुल छात्रों के आधार पर जिलों की लिस्ट जारी की गई। अंतःजनपदीय में हर स्कूल की लिस्ट जारी करनी है। इसके लिए छात्रसंख्या के आधार पर शिक्षकों की स्थिति का आकलन किया जा रहा है। उसमें वक्त लग रहा है।
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